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कीमत Best Motivational Story For Life


कीमत  Best Motivational Story For Life 

motivational

नमस्कार दोस्तों मैं आपका स्वागत करता हूं
आज एक और नई कहानी के साथ आज की यह कहानी
आपको रुला सकती है इसलिए अपने दिल को संभाल कर पढिये

एक बार एक छोटा सा बच्चा था
उसको छोटा सा पपी चाहिए था और उसने अपने पापा से जिद  की
कि पापा मुझे पपी चाहिए तो उसके पापा ने बोला कि बेटा ठीक है
तुम्हें कुछ दिनों बाद puppy दिला देंगे अभी तुम पढ़ाई पर ध्यान दो
 puppy के साथ  गेम तुम बाद में खेल लेना

तो उस बच्चे का दिल नहीं माना क्योंकि उसको छोटे-छोटे
जानवरों से काफी लगाव था तो जैसे तैसे उसने अपने छोटे से मिनी बैंक में
 पैसे इकट्ठे किए तो उसने देखा कि उसके पास ₹1000 इकट्ठे हो चुके हैं
तो वह उन पैसों को लेकर puppy की  दुकान पर चला गया जहां पर
 छोटे-छोटे puppys  मिला करते थे
लेकिन puppy की कीमत कुछ ज्यादा ही थी

अंकल बे कहा बेटा तुम अभी जाओ और तुम्हारे पास पैसे हो तो
 तब तुम आ जाना तो  उसने  थोड़ी देर बाद देखा कि वहां
 से 3-4 पप्पी निकल के आए
Puppys  छोटे छोटे थे तो उसने दुकान के मालिक से पूछा कि यह जो
 3-4 पपीज निकल कर आए हैं इनमे
सबसे पीछे वाला puppy है वह इतना धीरे क्यों चल रहा है तो
उन्होंने कहा कि इसका एक पेर टूटा हुआ है
डॉक्टर को दिखाया था तो डॉक्टर ने कहा कि यह पूरी जिंदगी ऐसे ही चलेगा

क्योंकि उसको कोई विशेष प्रकार की बीमारी है तो
आप  मुझे यह पप्पी दे सकते हो तो प्लीज दे दीजिए जब
मेरे पास पूरे पैसे होंगे तभी मैं इस पप्पी को लेकर जाऊंगा
 तो अंकल ने कहा कि बेटा यह क्या काम आएगा


इसका एक पाँव टूटा हुआ है  यह तुम्हारी
क्या मदद करेगा उसने अंकल को जवाब देने के लिए अपनी

जो पेंट थी उसको थोड़ा ऊंचा किया और बताया कि
 मेरा भी एक पैर टूटा हुआ है और मैं भी चल नहीं सकता था

लेकिन मैं अपने आप को कमजोर कभी नहीं समझता
 मेरे पापा ने मुझे एक चीज सिखाई  है कि बेटा खुद को
कभी कमजोर नहीं समझना जब मैं खुद को कमजोर नहीं समझ सकता
 तो इस पप्पी को कैसे कमजोर समझ  सकता हूं
 इसकी बड़ी कीमत है जो बाकी के puppys की कीमत वही इसकी भी है

आज मेरी वही कीमत है जो बाकी के बच्चों की है इसलिए इस
 पप्पी के लिए मैं खड़ा हूं मैं उसके साथ खड़ा हूं

उस दुकानदार की आंखों में आंसू आ गए
दोस्तों उसके पास  बोलने के लिए कोई  शब्द नहीं था

यह कहानी बताती है कि वह मेंटली कितना स्ट्रांग है और
जब इस उम्र में वह मेंटली स्ट्रांग है तो वह आगे अपनी लाइफ में क्या कर सकता है

दोस्तों मुझे उम्मीद है कि यह कहानी आपके दिल को जरूर छूकर निकली होगी
 . इस कहानी को पढ़ने के लिए आपका शुक्रिया

जब एक पिता को अपनी गलती का अहसास हुआ

नमस्कार दोस्तों आप सभी का स्वागत है आज मैं आपको बहुत ही जबरदस्त कहानी बताने वाला हूं

इससे पहले ही स्पष्ट कर दू आप सोच रहे होंगे कि मैं Backtobollywood.com प्लेटफार्म पर इतनी कहानियां क्यो publish करता हूं तो

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मैं आपको बताना चाहता हूं क्योंकि मेरा  मानना है कि कहानियां हमारे जीवन पर गहरा असर डालती है और हम इमेजेस और कहानियों के माध्यम से जो भी चीजें सीखते हैं वह हमारे दिमाग में जल्दी से ट्रिगर करती है 
और हमें जल्दी याद होती है और कुछ ना कुछ हम उनसे सीखते हैं

अगर आप कोई नई चीज सीखना चाहते हो और अगर आप स्टूडेंट हो तो मैं आपको यही सलाह दूंगा कि आप जो भी चीज learn करना चाहते हो या सीखना चाहते हो तो story के माध्यम से उसको सीखे

बाकी आप खुद देख लेना आपको चीजें जल्दी समझ में आएगी अब शुरू करता हूं

यह कहानी एक पिता पुत्र की है।
एक पिता! नौकरी करते हुए घर पहुंचा घर पहुंच कर उसने सोचा थोड़ा आराम कर लिया जाय

उसने अपने बेटे को बुलाया और कहां की बेटा मुझे एक गिलास पानी पिला दो, बेटा पानी ले आया। 
बेटे के दिमाग में कुछ चल रहा था
क्योंकि बेटे को पैसे की जरूरत थी। 
थोड़ी देर रिलैक्स होने के बाद उसके बेटे ने अपने पापा से कहा कि पापा 
क्या मैं आपसे एक बात पूछ सकता हूं?
उसके पापा ने कहा। बिल्कुल तुम पूछ सकते हो
बेटे ने पूछा पापा! आप 1 घंटे में कितना कमा लेते हैं?

पापा ने कहा कि मैं 1 घंटे में सो रुपए कमा लेता हूं।
बेटे ने कहा कि पापा मुझे ₹50 की जरूरत है। बाप इतना सुनके भड़क गया और उसने कहा कि तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई। मुझसे पैसे मांगने कि मैं इतनी मेहनत करके पैसे कमाता हूं और तुम मुझसे पैसे मांग रहे हो? 
जब तुम पैसे? कमाओगे तो तुम्हें समझ में आएगी कि पैसा मांगना कितना आसान है और कमाना कितना मुश्किल है? 

उसका बेटा रोते हुए चला गया,लेकिन कुछ देर बाद  पिता को अपनी गलती का एहसास हुआ। 
और वह बच्चे से पूछता है। ठीक है तुम पैसे ले लो, लेकिन मुझे बता दो कि तुम इन पैसों का करोगे क्या?
मैं आपको बाद में बता दूंगा।
उसका पिता उसको ₹50 देता है तो वह अपना छोटा सा mini bank तोड़ता है।
और उसमें से ₹50 निकालता है, सिक्कों को गिनता है। यह सब देखते हुए पर एक बार बाप फिर झल्ला जाता है। 
उसका पिता यह सब देखते हुए उसके बेटे को एक जोरदार तमाचा लगा देता है।
और गुस्सा करता है। तुम्हारे पास पैसे थे? तुमने मुझसे पैसे क्यों मांगे? 
बेटे के पास पैसे पूरे हो चुके थे। उसने कहा कि पापा कल से आप घर जल्दी आ जाना, मुझे आपके साथ एक घंटा बिताना है। आपके 1 घंटे की कीमत ₹100 है तो मैंने आपको अदा कर दी।

एक पिता के दिल पर क्या बीत सकती है? 
उससे  बेहतर कोई नहीं समझ सकता। 

दोस्तो आज की लाइफ में हम पैसे के पीछे भाग रहे हैं। खुशी कभी भी पैसों से नहीं खरीदी जा सकती 
जो यह बात जल्दी समझ जाता है वो अपनी जिंदगी को अच्छी तरीके से जी पाता है। 
आशा करता हूं कि इस कहानी से आपने भी कुछ न कुछ सीखा होगा। 
 धन्यवाद!