राजस्थान में कोरोना ने जमकर अपने तेवर दिखाए है लेकीन अब स्थिति काबू में नजर आ रही है। लेकिन कोरोना में बार-बार लगाये जा रहे लॉकडाउन का प्रदेश की इकोनॉमी पर बेहद विपरीत असर पड़ा है। लॉकडाउन के चलते प्रदेश में राजस्व 80 फीसदी तक घट गया है। इसका असर विकास कार्यों पर देखने को मिल रहा है।
सरकार को लेना पड़ सकता है कर्ज
राज्य सरकार ने कोरोना काल में प्रदेश की आर्थिक सेहत की बजाय लोगों की जान को ज्यादा तवज्जो देकर लोक कल्याणकारी सरकार होने का धर्म निभाया है। लेकिन राजस्व घटने से बड़ी परियोजनाओं और सरकारी योजनाओं पर संकट आना तय है। महत्वपूर्ण परियोजनाओं को जारी रखने के लिए सरकार को अब कर्ज लेना पड़ सकता है।
80 फीसदी तक घट गया है राजस्व
कोरोनो पर काबू पाने के लिये प्रदेश में कभी जन अनुशासन पखवाड़ा, कभी रेड अलर्ट जनअनुशासन पखवाड़ा तो कभी त्रिस्तरीय जन अनुशासन पखवाड़े के रूप में लॉकडाउन लागू करना पड़ा है। इसके कारण सरकारी आय का जरिया बंद हो गया। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का कहना है कि प्रदेश में विकास की गति को थमने नहीं दिया जाएगा।
Post A Comment:
0 comments: