दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक समिति (DSGMC) के एक सदस्य ने एक्ट्रेस कंगना रनोट को कानूनी नोटिस भेजा है। कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसानों के खिलाफ सोशल मीडिया पर पोस्ट लिखने के मामले में ये नोटिस भेजा गया है। नोटिस में कहा गया है कि संविधान के तहत किसानों को भी शांतिपूर्ण प्रदर्शन का अधिकार है और वह किसानों का अपमान नहीं कर सकती हैं।
कमेटी के सदस्य जस्मैन सिंह नोनी की ओर से वकील हरप्रीत सिंह होरा ने नोटिस में कहा है कि जब मुंबई में कंगना के ऑफिस के एक हिस्से को तोड़ा गया तो उन्होंने अपने प्रशंसकों को एकजुट करने के लिए सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया। उस समय उन्होंने कहा कि निगम की कार्रवाई उनके मौलिक अधिकारों पर हमला है। इसी तरह किसानों को भी मौलिक अधिकारों के तहत प्रदर्शन का अधिकार है।
शाहीन बाग वाली दादी को लेकर भी किया था आपत्तिजनक ट्वीट
नोटिस में आगे कहा गया है, 'कंगना ने एक सोशल मीडिया पोस्ट शेयर कर आरोप लगाया कि 'शाहीन बाग की दादी' भी नए कृषि कानूनों को लेकर किसानों के आंदोलन से जुड़ गई हैं। अभिनेत्री ने अपने उसी सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि 'टाइम' पत्रिका में जगह बना चुकी वही दादी '100 रुपए में उपलब्ध' है। हालांकि दैनिक भास्कर की पड़ताल में सामने आया था कि कंगना ने बिना नाम लिए मोहिंदर कौर को शाहीनबाग में CAA और NRC के विरोध में शामिल हुईं बिलकिस बानो बताया था। हालांकि, जब उन्हें ट्रोल किया गया तो उन्होंने अपनी यह पोस्ट डिलीट कर दी थी। इसी पोस्ट को लेकर अब उन्हें नोटिस भेजा गया है।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म से कार्रवाई करने को कहा
नोटिस में कहा गया, 'कई खबरों में दावा किया गया कि दोनों महिलाएं अलग-अलग हैं और अगर नहीं भी हैं तो उन्हें अपनी राजनीति चमकाने के लिए किसी बुजुर्ग महिला को अपमानित करने का अधिकार नहीं है। यह साफ तौर पर नफरत फैलाने वाला पोस्ट है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को जल्द से जल्द इस पर कदम उठाने की जरूरत है।
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