बॉलीवुड के शोमैन राज कपूर की आज (14 दिसंबर) 96वीं बर्थ एनिवर्सरी है। उनकी बर्थ एनिवर्सरी के खास मौके पर दैनिक भास्कर ने उनके सबसे छोटे बेटे राजीव कपूर से बात की। बातचीत के दौरान राजीव ने बताया की उनके पिता को अपना बर्थडे मनाना बहुत पसंद था। इतना ही नहीं, इंडस्ट्री के कई जाने माने सितारे उनके बर्थडे पार्टी का बेसब्री से इंतजार करते थे। राजीव ने राज कपूर से जुड़े कुछ दिलचस्प किस्से भी शेयर किए।
पापा को अपना जन्मदिन मनाने का बहुत शौक था
राजीव ने बताया, 32 साल हो गए हैं पापा को गए। लेकिन हम आज भी उनके जन्मदिन के अवसर पर उनके नाम की पूजा करते हैं। पापा को अपना जन्मदिन मनाने का बहुत शौक था। चाहे दुनिया यहां से वहां हो जाए, वे अपना जन्मदिन जरूर मनाते थे। यकीन मानिए, जितनी बेसब्री से वो अपने जन्मदिन का इंतजार करते थे। उतनी ही बेसब्री से उस वक्त के इंडस्ट्री के लोगों को उनकी पार्टी का इंतजार रहता था। पापा के बर्थडे की दिन की शुरुआत भगवान की पूजा से होती थी। जिसमें पूरा परिवार शामिल होता था। पूजा खत्म होते ही शाम की पार्टी की तैयारी शुरू हो जाती थी।
मेरी मां कृष्णा कपूर करती थीं बर्थडे पार्टी का आयोजन
पापा की बर्थडे पार्टी बॉलीवुड की सबसे ग्रैंड पार्टी मानी जाती थी। इस पार्टी की सबसे ख़ास बात ये होती थी की मेरी माँ कृष्णा कपूर इसका आयोजित करती। बर्थडे थीम से लेकर मेनू तक वो खुद तय करती। अभी ट्रेंड बदल गया है। अब जब भी कपूर खानदान में किसी भी तरह का सेलिब्रेशन होता है तो हम किसी इवेंट मैनेजमेंट कंपनी को पूरा काम सौंप देते है लेकिन पापा के जन्मदिन पर ऐसा बिलकुल नहीं होता था। मेरी माँ खुद सभी को पर्सनली न्योता भेजती थी। मेनू में भी पापा की पसंद की चीज़ें हुआ करती थी। सिर्फ बॉलीवुड इंडस्ट्री से ही नहीं बल्कि कई और क्षेत्र के नामचीन लोग भी इस पार्टी में शामिल हुआ करते थे। ना जाने कितने दिनों तक इस बर्थडे पार्टी की चर्चा हुआ करती थी। आज भी हम कई बार पापा के बर्थडे सेलिब्रेशन का जिक्र करते है तो आँखें नम हो जाती है। हम उन्हें बहुत मिस करते है। पापा को पार्टी करना बहुत पसंद था। उनकी याद हमेशा आती है।
पापा के 60वां जन्मदिन पर दिया था फूलों का बड़ा हार
1984 में पापा के 60वा बर्थडे सेलिब्रेशन में शामिल नहीं हो पाया था। उस वक्त मैं साउथ में एक फिल्म की शूटिंग में व्यस्त था। पापा अपने काम को लेकर बड़े ऑब्सेस्ड रहते थे और उसी तरह वे चाहते थे की हम भी अपने काम को गंभीरता से लें। मैं उस दिन उनके साथ रहना चाहता था। लेकिन मेरे को-स्टार की डेट्स में फेर बदल नहीं हो पा रहा था। ये बात जब मैंने पापा से शेयर की, तब उन्होंने मुझे अपने फिल्म पर फोकस करने के लिए कहा। इस खास दिन पर मैं उन्हें एक खास तोहफा देना चाहता था। हालांकि, समझ नहीं आ रहा था की उन्हें इतनी दूर बैठकर क्या गिफ्ट करूं। काफी सोचने के बाद मैंने उन्हें उनकी सबसे पसंदीदा चीज देने का फैसला लिया और वो था - फूल। पापा को अलग-अलग तरह के फूल बहुत पसंद थे। उनके 60वां बर्थडे पर मैंने उन्हें साउथ के बेस्ट फूल से बड़ा हार बनवाकर मुंबई भेजा, जिसे देखकर वे बहुत खुश हो गए थे।
लाइव म्युजिक का बहुत शौक था
पापा को लाइव म्युजिक का बहुत शौक था। उनकी पार्टियों में हमेशा लाइव बैंड होते थे, जो देर रात तक चलते। कई बार तो उस बैंड के म्यूजिशियन के संग पापा खुद कुछ गुनगुना भी लेते थे। आज हमारी पार्टीज में डीजे होते है, लेकिन जो बात लाइव बैंड में हुआ करती थी, वो अब नहीं रही।
महंगे गिफ्ट्स में बिलकुल रूचि नहीं थी
सच कहूं तो उन्हें महंगे गिफ्ट्स में बिलकुल रूचि नहीं थी। जब भी उनके सामने कोई गिफ्ट का जिक्र करता। तो वे गिफ्ट में सिर्फ काम की चर्चा करते। सोते-जागते, उठते-बैठते वे सिर्फ और सिर्फ अपने काम को लेकर ही बात करते। उनके लिए उनका काम ही सब कुछ था। उसके अलावा उनकी जिंदगी में कोई भी चीज ज्यादा मायने नहीं रखती थी।
हिंदी सिनेमा के चार्ली चैपलिन थे राज कपूर
बता दें कि 14 दिसंबर 1924 को पेशावर (पाकिस्तान) में जन्मे राज कपूर भारतीय सिनेमा के 'द ग्रेटेस्ट शोमैन' और सबसे बेहतरीन फिल्म एक्टर और प्रोड्यूसर माने जाते हैं। राज कपूर ने महज 22 साल की उम्र में अपनी पहली फिल्म को डायरेक्ट और प्रोड्यूस किया था। उन्हें फिल्म क्रिटिक्स और अपने चाहने वालों से हमेशा सराहना ही मिली। यहां तक की उन्हें हिंदी सिनेमा का चार्ली चैपलिन भी कहते थे। राज कपूर ने अपने पूरे फिल्मी करियर में दर्जनों सुपरहिट फिल्में दीं। उन्हें तीन राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार और 11 फिल्मफेयर पुरस्कारों से सम्मानित किया गया। कला में अपना योगदान देने के लिए भारत सरकार ने उन्हें देश के तीसरे सबसे बड़े सम्मान पद्म भूषण से भी सम्मानित किया था। उन्हें फिल्मों के सबसे बड़े सम्मान 'दादासाहेब फाल्के' अवॉर्ड से भी नवाजा गया।
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